उपायुक्त ने कहा – किसानों की आर्थिक उन्नति के लिए गुणवत्तापूर्ण एवं समयबद्ध क्रियान्वयन जरूरी
गोपाल शर्मा
झारखंड/ साहिबगंज।
जिला समाहरणालय स्थित कार्यालय प्रकोष्ठ में बुधवार को उपायुक्त हेमंत सती की अध्यक्षता में समेकित बिरसा ग्राम विकास योजना-सह-कृषक पाठशाला योजना एवं कृषि, सहकारिता एवं उद्यान विभाग अंतर्गत संचालित विभिन्न योजनाओं की समीक्षा बैठक आयोजित की गई।

बैठक में उपायुक्त ने विभागीय अधिकारियों से योजनाओं की प्रगति रिपोर्ट की विस्तृत जानकारी प्राप्त की और कहा कि राज्य सरकार किसानों की आर्थिक स्थिति सुदृढ़ करने एवं ग्रामीण आजीविका को सशक्त बनाने के लिए कई महत्त्वपूर्ण योजनाएँ चला रही है। उन्होंने निर्देश दिया कि सभी योजनाओं का क्रियान्वयन गुणवत्तापूर्ण, पारदर्शी एवं समयबद्ध तरीके से किया जाए, ताकि योजनाओं का अधिकतम लाभ किसानों तक पहुँच सके।

उपायुक्त ने समेकित बिरसा ग्राम विकास योजना के तहत चयनित गाँवों में चल रहे कार्यों की समीक्षा करते हुए संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिया कि लक्षित गतिविधियाँ — जैसे कृषक समूहों का गठन, बीज वितरण, जैविक खेती प्रशिक्षण, बागवानी विस्तार, तालाब निर्माणएवं जल संरक्षण कार्य — नियमित रूप से की जाएँ और उनकी अद्यतन रिपोर्ट जिला नियंत्रण कक्ष को समय पर उपलब्ध कराई जाए।
उन्होंने कहा कि बिरसा ग्राम योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण अर्थव्यवस्था को सशक्त बनाना और किसानों की आमदनी में स्थायी वृद्धि सुनिश्चित करना है। इसके लिए कृषि प्रसार अधिकारियों को पंचायत स्तर पर सक्रिय भूमिका निभानी होगी, ताकि जमीनी स्तर पर योजनाओं का प्रभाव दिखाई दे।
इसके साथ ही उपायुक्त ने कृषक पाठशाला योजना की उपयोगिता पर बल देते हुए कहा कि इसके माध्यम से किसानों को नई कृषि तकनीक, फसल विविधीकरण, प्राकृतिक खेती एवं जल संरक्षण जैसे विषयों पर व्यवहारिक प्रशिक्षण दिया जाए। उन्होंने कहा कि किसानों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए उन्हें ज्ञान, प्रशिक्षण और संसाधनों की उपलब्धता सुनिश्चित करना प्रशासन की प्राथमिकता है।
बैठक में जिला कृषि पदाधिकारी प्रमोद एक्का, जिला सहकारिता पदाधिकारी महादेव मुर्मू, जिला मत्स्य पदाधिकारी विरेन्द्र विन्हा सहित संबंधित विभागों के अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।

